महासमुंद। चिटफंड कंपनी के एजेंट ने छह साल तक हर माह रुपए कंपनी में रुपए जमा कराया अब मैच्योरिटी पूरा होने के बाद भी जमाकर्ताओं को न तो मूलधन मिला और न ही ब्याज। परेशान तेंदूकोना निवासी मजदूर जगदीशदास मानिकपुरी और जागेश्वर दीवान ने शनिवार 10 अक्टूबर को सिटी कोतवाली पहुंचकर तेंदूकोना निवासी एचबीएन के एजेंट संजय साहू के विरुद्ध धोखाधड़ी का मामला दर्ज करने आवेदन दिया है। पुलिस ने आवेदन को जांच में लिया है।
थाना पहुंचे ग्रामीणों ने शिकायत में बताया कि 7 साल पहले से उक्त दोनों ग्रामीण से एनबीएन के तत्कालीन अभिकर्ता संजय साहू ने रुपए जमा कराया। यह रकम उन्होंने नियमित तौर पर हर महीने जमा किया। एचबीएन में निवेश करने से पूर्व उन्होंने एजेंट संजय साहू से कंपनी की विश्वसनीयता पर पूछताछ की। जिस पर साहू ने उन्हें भरोसा दिलाया कि कंपनी भागती है तो वे उनकी रकम की भरपाई खुद करेंगे। इसी भरोसे पर ग्रामीण, एजेंट की बातों में आ गए। जगदीश ने 6 साल तक कुल 33480 रुपए जमा किया। छठे साल बाद एजेंट ने दोगुना रकम मिलने की बात कही थी। लेकिन जैसे ही मैच्योरिटी पूरा हुआ कंपनी रफू चक्कर हो गई। बाद से स्थानीय एजेंट से राशि की मांग कर रहे हैं, लेकिन एजेंट द्वारा लगातार बदसलूकी की जा रही है। जागेश्वर दीवान ने बताया कि 6 साल तक 39600 जमा किया था, एजेंट ने 51300 रुपए देने का वादा किया था। लेकिन मूलधन या ब्याज कुछ भी नहीं मिला।
जगदीश ने बताया कि एजेंट संजय साहू ने पूर्व में उन्हें दो चेक भी दिया। लेकिन दोनों चेक बाउंस हो गए। रुपए की मांग करने पर जान से मारने की धमकी और गाली गलौज की जाती है।
उन्होंने बताया कि एजेंट संजय साहू अब गांव का सरपंच है, जिसके कारण पुलिस उस पर हाथ नहीं डाल रही है। ग्रामीणों का कहना है कि वे किसी एचबीएन कंपनी को पहले भी नहीं जानते थे और अब भी नहीं जानते, उनके लिए उनके गांव का व्यक्ति ही भरोसेमंद था, जिसके विश्वास पर उन्होंने अपनी जीवन भर की जमापूंजी भविष्य की जरूरतों के लिए लगाया। लेकिन गांव के ही व्यक्ति ने उनसे विश्वासघात किया है। ग्रामीणों ने धोखा देने वाले एजेंट का्रवाई कर जमा पूंजी वापस दिलाने की मांग की है।
ज्ञात हो कि एचबीएन जैसी कई कंपनियों ने गांव के लोगों को एजेंट बनाया। उन्हें अच्छे कमीशन का लालच दिया। जिस पर एजेंट ने गांव के एवं अपने परिचितों से अपनी गारंटी पर निवेश कराया। अब कंपनी भाग गई तो एजेंट अपनी बातों से मुकर रहे हैं। कल तक स्वयं के रुपए से निवेशकों के रकम लौटाने की बात करने वाले एजेंट अब बातों से पलट कर निवेशकों से बदसलूकी करने पर उतर आएं हैं।
'गाली-गलौज व जान से मारने की धमकी का आरोप मनगढ़ंत है। ग्रामीण बनावटी बात कर रहे हैं। कंपनी में ग्रामीणों का पैसा जमा है। कंपनी ने ही चेक दिया था, जो बाउंस हुआ। मैंने रुपे वापस करने की कोई गारंटी नहीं दी थी। विश्वासघात, धोखाधड़ी का आरोप गलत है।' - संजय साहू, एजेंट एचबीएन
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