दिल्ली के 'प्लास्टिक किंग' नाम से मशहूर बिजनसमैन भंवरलाल रघुनाथ दोषी अपना 600 करोड़ रुपये के एंपायर छोड़ते हुए जैन भिक्षु बन गए। उन्होंने रविवार को गुजरात के अहमदाबाद में आयोजित भव्य समारोह में दीक्षा ली।
दो बेटों और एक बेटी के पिता दोषी 1982 से ही दीक्षा लेना चाहते थे। जैन धर्म की शिक्षाओं ने उन्हें अध्यात्म की तरफ खींच लिया था। मगर वह पिछले साल ही अपने परिवार को इसके लिए मना पाए। इस समारोह में आए लोगों में से 101 ने संकल्प लिया कि आने वाले 5 साल के अंदर वे जैन दीक्षा लेंगे।
अहमदाबाद एजुकेशन ग्राउंड को 'संयम जहाज' की तर्ज पर बनाया गया था। इसकी लागत 100 करोड़ रुपये थी। 1000 साधु-साध्वियों के अलावा यहां पर 1.5 लाख लोग आए थे। दोषी जैन आचार्य श्री गुणरत्न सुरीश्वरजी महाराज के 108वें शिष्य बने।
अडानी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अडानी भी इस मौके पर मौजूद थे। शनिवार को 7 किलोमीटर लंबा एक मार्च निकाला गया था, जिसमें 1000 भिक्षु, 12 रथ, 9 हाथी, 9 ऊंट शामिल थे।