रायपुर। छत्तीसगढ़ नागरिक अधिकार समिति ने शनिवार को चिटफंड कंपनियों के खिलाफ निवेशकों के साथ एक दिवसीय प्रदेशव्यापी महाधरना दिया। इसमें शामिल होकर निवेशकों ने बूढ़ापारा में जमकर नारेबाजी करते हुए पीड़ितों ने भी अपनी बात रखी। उन्होंने 5 सूत्री मांग को लेकर तहसीलदार के हाथों मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह के नाम ज्ञापन सौंपा। इसमें समय रहते मांग पूरी नहीं होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी गई है।
पंडाल में समिति के महासचिव शुभम साहू ने कहा कि प्रदेश में आकर गरीब जनता की जमा पूंजी पर ज्यादा ब्याज देने का लालच देकर रुपए जमा कराने के बाद कंपनियां स्थानीय कार्यालयों में ताला लगाकर भाग रही हैं। इससे गरीब जनता महंगाई के साथ अब खुलेआम लूटने वाली कंपनियों के जाल में फंस रही है। अगर आरोपी कंपनियों के डाइरेक्टरों की गिरफ्तारी और इनकी सम्पत्ति को राजसात करके हितग्राहियों की रकम वापसी नहीं कराई जाती है तो निवेशकों को साथ लेकर उग्र प्रदर्शन किया जाएगा, क्योंकि फर्जी चिटफंड कंपनियों को राज्य सरकार ही पनाह दे रही है। इस दौरान निवेशकों ने भी साथियों के बीच अपनी बात रखी।
ये प्रमुख मांग
- निवेशकों के हितों को देखते हुए संरक्षण अधिनियम के तहत शासन समस्त चिटफंड कंपनियों पर कार्रवाई करे।
- समस्त आरोपी कंपनियों की चल-अचल सम्पत्ति को सरकार राजसात करे।
- बढ़ते प्रकरणों की सुनवाई तेज करने के लिए प्रत्येक जिले में विशेष अदालत गठित की जाए।
- निवेशकों की शीघ्र रकम वापसी के लिए जरूरी कानूनी प्रक्रिया में तेजी लाई जाए।
- सनशाइन इन्फ्राबिल्ड कार्पोरेशन लिमिटेड द्वारा प्रदेश के निवेशकों के 400 करोड़ रुपए का गबन करके कार्यालय को बंद कर दिया है। दिल्ली स्थित कंपनी के डाइरेक्टरों के खिलाफ जालसाजी का प्रकरण दर्ज कराकर कार्रवाई की जाए।
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